प्राइवेट पैरामेडिकल कॉलेज के विद्यार्थियों के साथ भेदभाव एवं अन्याय :म.प्र.शासकीय मेडिकल कॉलेज में सरकरी नौकरी नहीं मिलेगी
मध्य प्रदेश के विभिन शासकीय /स्वशासी मेडिकल कॉलेज जैसे भोपल ,ग्वालियर , इंदौर , रतलाम ,शहडोल एवं
अन्य मेडिकल कॉलेज के द्वारा विज्ञप्ति जारी करके पैरामेडिकल संवर्ग के अंतर्गत विभिन्न पदों पर आवेदन
मगाया गया है
तुगलकी फरमान जारी किया गया
भर्ती के सम्बन्ध में अवर सचिव ,मध्यप्रदेश शासन चिकित्सा शिक्षा विभाग मंत्रालय भोपाल का पत्र क्रमांक
एफ 2-20/2020/1/55 भोपाल दिनांक 17.11.2020 द्वारा पत्र का उल्लेख विज्ञापन में किया गया हैं जिसके
अंतर्गत सह चिकित्सीय सवर्ग के रिक्त पदों पर शासकीय चिकित्सा महाविद्यालयों में संचालित पैरामेडिकल
कोर्स से उत्तीर्ण उम्मीदवारों हेतु निर्धारित शर्तों के अधीन आवेदन आमंत्रित किये जा रहे हैं
मिलेगी क्या ?
इस नियम के तहत सिर्फ और सिर्फ शासकीय चिकित्सा महाविद्यालयों में संचालित पैरामेडिकल कोर्स से उत्तीर्ण
उम्मीदवार ही आवेदन कर पाएंगे प्राइवेट पैरामेडिकल कॉलेज के छात्र एवं छात्रएं भर्ती प्रक्रिया में सम्मिलित ही
नहीं हो पायंगे
सम्पूर्ण मध्यप्रदेश में शासकीय म.प्र. मेडिकल यूनिवर्सिटी से संबंधद्ध एवं
शासकीय म.प्र. पैरामेडिकल कौंसिल से संबंधद्ध
प्राइवेट पैरामेडिकल कॉलेज के द्वारा पैरामेडिकल कोर्स विगत कई वर्षों से
संचालित किया जा रहा हैं और हजारों की संख्या में छात्र एवं छात्राये उत्तीर्ण होते आ रहे हैं
अगर प्राइवेट पैरामेडिकल कॉलेज से कोर्स किये छात्रों को भर्ती प्रक्रिया में सम्मिलित नहीं किया जायेगा तो मध्यप्रदेश के हजारों छात्रों के भविष्य के साथ अन्याय होगा
अत्यंत मत्वपूर्ण प्रश्न :
पूर्व में और अभी भी नर्सेस की भी भर्तियां लगातार की जा रही है परन्तु उनकी भर्तीयों में ऐसा तुगलकी फरमान क्यों नहीं जारी किया जाता है न ही डॉक्टर्स के भर्ती में ऐसा आदेश जारी किया जाता है
लेकिन पैरामेडिकल संवर्ग में एवं मेडिकल लैब टेक्नोलॉजी विषय में सबसे खेल खेला जाता है ऐसा क्यों इसके लिए कौन जिम्मेदार है शासन या पैरामेडिकल संवर्ग एवं मेडिकल लैब टेक्नोलॉजी विषय के छात्र ,छात्राएं
पैरामेडिकल संवर्ग एवं मेडिकल लैब टेक्नोलॉजी विषय के छात्र,छात्राओं की चुपी ही जिम्मेदार तो नहीं
क्या अधिकारों के लिए ,भविष्य के लिए ,रोजगार के लिए आवाज नहीं उठा सकते है
क्या आत्मसम्मान मर गया है
विचार करना एवम सही दिशा में कदम उठाना होगा
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